Monday, November 28, 2022

SCIENCE MATHS & ENVIRONMENT EXHIBITION IN GMSSSS BIANA (KARNAL)

 जिओस्टेशनरी सेटेलाइट पर आधारित कपिल रूहाल के मॉडल ने पाया पहला स्थान

विज्ञान व गणित प्रदर्शनी में विद्यार्थियों का आत्मविश्वास बेमिसाल: अंजू 

सरपंच ने किया प्रदर्शनी का उद्घाटन

इन्द्री, 28 नवंबर 

गांव ब्याना स्थित राजकीय मॉडल संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में गणित, विज्ञान व पर्यावरण प्रदर्शनी का आयोजन किया गया। गांव की सरपंच अंजू कांबोज ने रीबन काट कर प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। प्रदर्शनी में गणित प्राध्यापक सतीश राणा, गोपाल दास, सीमा गोयल, भौतिक विज्ञान प्राध्यापक विनोद कुमार व विवेक कुमार, रसायन विज्ञान प्राध्यापक अनिल पाल व संदीप कुमार, जीव विज्ञान प्राध्यापक डॉ. महाबीर सिंह के मार्गदर्शन में विद्यार्थियों द्वारा तैयार किए गए मॉडल व चार्ट प्रदर्शित किए गए। कार्यक्रम की अध्यक्षता स्कूल के कार्यकारी प्रधानाचार्य अरुण कुमार कैहरबा ने की। 

सरपंच अंजू कांबोज, पंचायत सदस्य ममता कश्यप, पंचायत सदस्य ममता सैन, सामाजिक कार्यकर्ता बबली कांबोज, सविता कांबोज, मिथलेश कांबोज, समाजसेवी महेन्द्र गोयल, मुरादगढ़ के सरपंच विनोद कुमार सहित कईं गणमान्य व्यक्तियों ने प्रदर्शनी में दिखाए जा रहे मॉडलों का अवलोकन किया और विद्यार्थियों ने पूरे आत्मविश्वास के साथ अपने मॉडलों की कार्य विधि व महत्ता के बारे में विस्तार से बताया। जिला शिक्षा अधिकारी राजपाल चौधरी व जिला विज्ञान विशेषज्ञ दीपक वर्मा ने प्रधानाचार्य से फोन पर प्रदर्शनी की रिपोर्ट प्राप्त की और कहा कि विज्ञान प्रदर्शनी विद्यार्थियों में गणित व विज्ञान में रूचि विकसित करने का महत्वपूर्ण मंच है। उन्होंने कहा कि प्रदर्शनी में विद्यार्थियों की उत्साहजनक भागीदारी आने वाले समय में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा का मार्ग प्रशस्त करेगी। सभी कक्षाओं के विद्यार्थियों ने प्रदर्शनी में पंक्तिबद्ध होकर मॉडल देखे और प्रतिभागी विद्यार्थियों ने मॉडल के बारे में उन्हें विस्तृत जानकारी दी।


प्रदर्शनी के अवलोकन के बाद सरपंच अंजू कांबोज ने कहा कि प्रदर्शनी में विद्यार्थियों का सीखने का आनंद और आत्मविश्वासपूर्ण अभिव्यक्ति देखते ही बनती है। उन्होंने कहा कि उनके गांव के स्कूल में अध्यापकों द्वारा बच्चों को बहुत अच्छी शिक्षा प्रदान की जा रही है। उन्होंने कहा कि सरकारी स्कूल किसी भी गांव की शान और पहचान होते हैं, जहां पर प्रतिभाओं का विकास होता है। इसलिए पंचायत द्वारा प्रतिभाशाली विद्यार्थियों के विकास के लिए कार्य किए जाएंगे।

छात्रा मानसी का गलोबल वार्मिंग पर आधारित पोस्टर रहा प्रथम-

प्रदर्शनी में जिओस्टेशनरी सैटेलाइट का प्रदर्शन करने वाले कपिल रूहाल के मॉडल ने पहला स्थान प्राप्त किया। इको फ्रैंडली सामग्री उप विषय के अन्तर्गत दीपांशु द्वारा बनाए गए टरबाइन के मॉडल ने दूसरा, छात्रा लक्ष्मी के सिवरेज वाटर ट्रीटमेंट प्लांट के मॉडल ने तीसरा, छात्र प्रणव के सेफ्टी डिवाइडर के मॉडल ने चौथा, हेमंत के मॉडल ने पांचवां, हार्दिक के मैगनेटिक लैविटेशन पर आधारित मॉडल ने छठा, दिव्या के एप्लीकेशन ऑफ ट्रिगनोमेटरी के मॉडल ने सातवां स्थान प्राप्त किया। गलोबल वार्मिंग से जूझने का संदेश देता मानसी के पोस्टर ने पहला स्थान प्राप्त किया। सेमिनार में दसवीं कक्षा की छात्रा कनिष्का पहले स्थान पर रही। विज्ञान ड्रामा में अंशुल, अंकुश, देवेन्द्र, नैतिक, गुरप्रीत का चयन किया गया।

इस मौके पर वरिष्ठ प्राध्यापक डॉ. सुभाष चन्द, सतीश कांबोज, राजेश कुमार, बलराज, मुकेश खंडवाल, राजेश सैनी, नरेन्द्र कुमार, सन्नी चहल, नरेश मीत, विनीत सैनी, निर्मलजीत सिंह, चन्द्रवती उपस्थित रहे। 

HARYANA PRADEEP 29-11-2022

DAINIK JAGMARG 29-11-2022

DAINIK JAGRAN 29-11-2022

Saturday, November 26, 2022

SEMINAR ON CONSTITUTUIN DAY IN GMSSSS BIANA

 सेमिनार रिपोर्ट

भारतीय संविधान शहीदों व स्वतंत्रता सेनानियों के सपनों का लिखित दस्तावेज: अरुण कैहरबा

कार्यकारी प्रधानाचार्य ने संविधान की प्रस्तावना का करवाया पाठ 

करनाल, 26 नवंबर 

संविधान भारत देश की आत्मा है। जिस तरह से आत्मा के बिना शरीर निर्जीव होता है, उसी प्रकार से संविधान देश को जीवन व दिशा देता है। आजादी के लिए कुर्बानियां देने वाले और जेलों में यातना साहने वाले स्वतंत्रता सेनानियों ने जो सपने देखे थे, वे सब सपने संविधान में समाहित किए गए हैं। ये शब्द जिला करनाल के गांव ब्याना स्थित राजकीय मॉडल संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में कार्यकारी प्रधानाचार्य व हिन्दी प्राध्यापक अरुण कुमार कैहरबा ने कहे। वे संविधान दिवस पर आयोजित सेमिनार में बतौर मुख्य वक्ता संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर उन्होंने संविधान की प्रस्तावना का पाठ किया और पीछे-पीछे सभी विद्यार्थियों व अध्यापकों ने प्रस्तावना की पंक्तियां देाहरायी। सेमिनार की अध्यक्षता राजनीति विज्ञान प्राध्यापक बलविन्द्र सिंह ने की और संचालन शारीरिक शिक्षा प्राध्यापक नरेन्द्र कुमार ने की।

अरुण कुमार कैहरबा ने कहा कि भारतीय संविधान को दुनिया का सबसे बड़ा लिखित संविधान होने का गौरव प्राप्त है। जिस संविधान सभा ने 2 वर्ष, 11 महीने व 18 दिन में संविधान तैयार किया, उसमें देश के विभिन्न हिस्सों, वर्गों व राजनीतिक दलों का प्रतिनिधित्व था। मसौदा समिति के अध्यक्ष डॉ. भीमराव अंबेडकर ने संविधान तैयार करने के लिए दुनिया के विभिन्न देशों के संविधानों का अध्ययन किया और भारत की स्थितियों के अनुकूल एक बेहतरीन संविधान का निर्माण किया है। उन्होंने कहा कि भारत का संविधान मूल रूप से हिन्दी और अंग्रेजी भाषाओं में हाथ से लिखा गया। 26 नवंबर, 1949 में यह संविधान राष्ट्र को समर्पित किया गया, जिसे 26 जनवरी, 1950 को लागू किया गया। उन्होंने कहा कि संविधान में देश की जनता को समान रूप से छह मौलिक अधिकार दिए गए हैं। इसके साथ ही सभी के लिए मौलिक कर्तव्यों का भी प्रावधान किया गया है। संविधान समानता, न्याय, मानवीय गरिमा, देश की एकता, अखंडता व संभ्रुता के सिद्धांतों पर आधारित है। अरुण कैहरबा ने कहा कि हमारा कर्तव्य है कि देश की विविधता का सम्मान करते हुए जाति, धर्म, सम्प्रदाय, क्षेत्र, भाषा, बोली, रंग व लिंग की संकीर्णताओं से ऊपर उठें और शिक्षा को हथियार बनाकर बेहतर समाज के निर्माण के लिए कार्य करें। उन्होंने कहा कि हमें संविधान के बारे में अधिक से अधिक जानकारी प्राप्त करनी चाहिए।




कानूनी साक्षरता क्लब के द्वारा खंड स्तर पर होने वाली कानूनी साक्षरता प्रतियोगिताओं की तैयारियां की गई। रसायन विज्ञान प्राध्यापक अनिल पाल, संदीप कुमार, भौतिक विज्ञान प्राध्यापक विनोद कुमार, विवेक कुमार, जीव विज्ञान प्राध्यापक डॉ. महाबीर सिंह, गणित प्राध्यापक सतीश राणा, सीमा गोयल, गोपाल दास की अगुवाई में विद्यार्थियों ने विज्ञान एवं गणित के मॉडल तैयार किए, जिसे स्कूल में आयोजित होने वाली प्रदर्शनी में प्रस्तुत किया जाएगा। इस मौके पर प्राध्यापक बलराज, दिनेश कुमार, राजेश कुमार, मुकेश खंडवाल, सलिन्द्र कुमार, राजेश सैनी, नरेश कुमार, निशा कांबोज, विनीत सैनी, गोपाल सिंह, कविता, सुरेन्द्र, जितेन्द्र उपस्थित रहे। 


JAGMARG 27-11-2022
HARYANA PRADEEP 28-11-2022





Thursday, November 24, 2022

DISCUSSION ON SCHOOL BEAUTIFICATION & CAMPAIGN OF FLOWERS

परिचर्चा रिपोर्ट

सुंदर परिवेश में होगी अच्छी शिक्षा

स्कूल सौंदर्यीकरण एवं फूलों की मुहिम पर परिचर्चा का आयोजन

फूलों की मुहिम में स्कूल सुंदरता में दिया योगदान

अरुण कुमार कैहरबा

करनाल जिला के गांव रायतखाना स्थित राजकीय मॉडल संस्कृति प्राथमिक पाठशाला में आपसी संस्था के सौजन्य से स्कूल सौंदर्यीकरण एवं फूलों की मुहिम विषय पर परिचर्चा का आयोजन किया गया। परिचर्चा की अध्यक्षता पाठशाला के प्रभारी देवेन्द्र सिंह देवा ने आए अतिथियों को फूलों की पौध वितरित की। कार्यक्रम का संचालन हिन्दी प्राध्यापक अरुण कुमार कैहरबा ने किया। परिचर्चा में जींद जिला के दनौदा कलां स्थित राजकीय प्राथमिक पाठशाला में प्राथमिक शिक्षक राज कुमार जांगड़ा, करनाल खंड के गांव नलवी पार स्थित राजकीय प्राथमिक पाठशाला के मुख्य शिक्षक सुभाष लांबा, फूलों की मुहिम जिला यमुनानगर की संयोजक हरविन्द्र कौर ढि़ल्लों ने विशेष रूप से शिरकत की और अपने विचार एवं अनुभव सांझा किए। फ्लावर मैन डॉ. रामजी जयमल के नेतृत्व में चलाई जा रही फूलों की मुहिम का रायतखाना का राजकीय स्कूल एक अहम केन्द्र है। 

फूलों से सरकारी स्कूल बन रहे आनंद घर: अरुण कैहरबा

विषय की शुरूआत करते हुए फूलों की मुहिम से जुड़े गांव ब्याना स्थित राजकीय मॉ.सं.व.मा.विद्यालय ब्याना के कार्यकारी प्रधानाचार्य व हिन्दी प्राध्यापक अरुण कुमार कैहरबा ने कहा कि शिक्षा की प्रक्रिया में शिक्षार्थी व शिक्षक के अलावा परिवेश एक महत्वपूर्ण घटक होता है। स्कूल का वातावरण जितना अधिक सुंदर होगा, उतनी अच्छी शिक्षा होगी। उन्होंने कहा कि फूलों की मुहिम स्कूलों को सुंदर बनाने में अहम योगदान दे रही है। इससे सरकारी स्कूल आनंद घर के रूप में विकसित हो रहे हैं। इस कार्य में अध्यापक नेतृत्वकारी भूमिका निभा रहे हैं।

फूलों का परिवेश करता भावनात्मक विकास: राज जांगड़ा


प्राथमिक शिक्षक राज कुमार जांगड़ा ने कहा कि फूलों से सुसज्जित पाठशालाओं के साथ विद्यार्थियों का भावनात्मक रिश्ता स्थापित होता है। उन्होंने अपने स्कूल के अनुभव सांझा करते हुए कहा कि उनके स्कूल के बच्चे कहीं भी फूल देखकर तोड़ते नहीं हैं। वे फूलों को लगाने की प्रक्रिया में खुद शामिल होते हैं, इसलिए उन्हें पौधों में लगे हुए फूलों की अहमियत ज्यादा पता होती है। उन्होंने कहा कि फूलों का परिवेश बच्चों के भावनात्मक विकास में भी सहायक होता है।

फूलों की क्यारी जटिल पाठों का बनाती आसान: सुभाष लांबा

मुख्य शिक्षक सुभाष लांबा ने कहा कि फूल हमें हंसना सिखाते हैं। फूल मुस्कुराना और खुश रहना सिखाते हैं। स्कूलों में अध्यापकों का बच्चों के साथ फूल के पौधे लगाना किताबों के जटिल पाठों को आसन तरीके से सिखाना भी है। जो पाठ किताबों में बहुत कठिन नजर आते हैं, वे फूलों की क्यारी में आकर सहज और सरल बन जाते हैं। उन्होंने छपरियों गांव की राजकीय प्राथमिक पाठशाला में स्कूल सौंदर्यीकरण के अनुभव सांझा करते हुए बताया कि कितने ही अधिकारी उनकी पाठशाला में आकर जाना भूल जाते थे। 

फूलों और बच्चे सबसे अधिक संभावनाशील: हरविन्द्र ढि़ल्लों

यमुनानगर से आई फूलों की मुहिम की जिला संयोजक हरविन्द्र कौर ढि़ल्लौं ने फूलों की मुहिम के अपने अनुभव सांझा करते हुए कहा कि पर्यावरण की स्थिति इस समय बहुत भयावह है। फूलों के परिवेश में शिक्षा प्राप्त करने वाले बच्चे ही नई उम्मीद जगाते हैं। उन्होंने कहा कि फूल और बच्चे आज के वातावरण को और अधिक आकर्षक बना सकते हैं।

बच्चों को सीखने का आनंद मिल रहा: देवेन्द्र देवा

पाठशाला प्रभारी देवेन्द्र सिंह देवा ने कहा कि उनकी पाठशाला फ्लावर मैन के रूप में विख्यात डॉ. रामजी जयमल द्वारा लगाई गई करीब 35 किस्मों के फूलों की पौध का अहम केन्द्र है। यहां पर पौध लेने के लिए अनेक स्थानों से सरकारी स्कूल के अध्यापक पहुंच रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह उनके लिए गौरव की बात है। उन्होंने कहा कि स्कूल की सुंदरता व अध्यापकों की मेहनत का परिणाम है कि उनके स्कूल में बच्चों को सीखने का आनंद मिलता है। उन्होंने कहा कि उनके स्कूल में लगाई गई पौध को कोई भी प्राप्त कर सकता है।

करनाल जिला के 13 स्थानों मिल सकती है फूलों की पौध-

परिचर्चा के दौरान अरुण कैहरबा व देवेन्द्र सिंह देवा ने जानकारी देते हुए बताया कि फ्लावर मैन डॉ. रामजी जयमल द्वारा करनाल जिला में 13 स्थानों पर पौध लगाई गई है। उन्होंने कहा कि इन्द्री खंड के गांव रायतखाना, ब्याना, नन्हेड़ा, गढ़ीबीरबल, गोरगढ़, चांदसमंद व घरौंडा के गांव अराईंपुरा के राजकीय स्कूल, जिला जेल करनाल, धमनहेरी के लेक व्यू फार्म, रंदौली, डेरा सिकलीगर, सैय्यद छपरा स्थानों से पौध प्राप्त की जा सकती है।

अरुण कुमार कैहरबा

हिन्दी प्राध्यापक

वार्ड नं.-4, रामलीला मैदान, 

इन्द्री, जिला-करनाल, हरियाणा।

DAINIK BHASKAR 25-11-2022

मो.नं.-9466220145

25-11-2022



Monday, November 21, 2022

EXCELLENT PRESENTATIONS OF GMSSSS BIANA IN INDRADHANUSH PROGM.

 पंचायत स्कूल के कार्यों को प्राथमिकता से पूरा करवाएगी: विपिन

नवनिर्वाचित सरपंच का किया स्वागत

इन्द्रधनुष कार्यक्रम में ब्याना स्कूल के विद्यार्थियों का शानदार प्रदर्शन

इन्द्री, 21 नवंबर 

इन्द्री खंड के गांव ब्याना स्थित राजकीय मॉडल संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय के विद्यार्थियों व अध्यापकों ने खंड स्तरीय इन्द्रधनुष कार्यक्रम में शानदार प्रदर्शन किया है। स्कूल में आयोजित कार्यक्रम में विजेता विद्यार्थियों व अध्यापकों को शुभकामनाएं दी गई। स्कूल में नवनिर्वाचित सरपंच अंजू रानी व उनके पति विपिन कांबोज ने विद्यार्थियों को लड्डू वितरित करवाए। कार्यकारी प्रधानाचार्य अरुण कुमार कैहरबा व अध्यापकों ने सरपंच का स्वागत किया। इस मौके पर पंचायत सदस्य मान सिंह, समाजसेवी महेन्द्र गोयल, सुशील कांबोज, कश्मीरी लाल, राकेश कांबोज व सुनील कुमार मौजूद रहे। सरपंच प्रतिनिधि विपिन कांबोज ने आश्वासन दिया कि कार्यभार ग्रहण करते ही वे स्कूल की समस्याओं पर ध्यान देंगे और स्कूल के कार्यों को प्राथमिकता के साथ पूरा किया जाएगा। उन्होंने कहा कि स्कूल शिक्षा का मंदिर है। उनकी पंचायत स्कूल व शिक्षा पर खास ध्यान देगी। कार्यक्रम कां संचालन अंग्रेजी प्राध्यापक राजेश सैनी व शारीरिक शिक्षा प्राध्यापक नरेन्द्र ने किया।

ज्ञानार्जन के लिए करें जन संचार माध्यमों का प्रयोग: अरुण कैहरबा

स्कूल में महान वैज्ञानिक सीवी रमन की पुण्यतिथि मनाई गई। भौतिक विज्ञान प्राध्यापक विनोद कुमार ने सीवी रमन के जीवन, संघर्षों, आविष्कारों व उपलब्धियों पर प्रकाश डाला। विश्व टेलीविजन दिवस पर बोलते हुए कार्यकारी प्रधानाचार्य अरुण कुमार कैहरबा ने कहा कि टेलीविजन विज्ञान की अनुपम देन है। टेलीविजन के आगमन के साथ ही संचार क्रांति को नए पंख लग गए। उन्होंने कहा कि जन संचार के इलेक्ट्रोनिक माध्यमों में टेलीविजन दृश्य-श्रव्य माध्यम है। इस माध्यम ने आम जन तक सूचनाओं की पहुंच सरल बना दी। उन्होंने कहा कि जब गांवों में टेलीविजन आया था तो पूरा गांव एक टेलीविजन को देखने के लिए उमड़ पड़ता था। लेकिन आज ब्लैक एंड व्हाइट टेलिविजन से रंगीन, एलसीडी व एलईडी का सफर करते हुए हर घर में यह पहुंच गया है। उन्होंने विद्यार्थियों को मोबाइल व टेलीविजन का प्रयोग ज्ञानार्जन के लिए करने का आह्वान करते हुए कहा कि ये माध्यम दोधारी तलवार हैं। यदि इनका प्रयोग सही समझ के साथ नहीं किया गया तो ये नुकसानदायी हो सकते हैं। 

तनवी व मुस्कान ने लोक गायन तथा पेंटिंग में स्मृति, अर्पित, यशवी ने पाया पहला स्थान-  

अरुण कैहरबा ने जानकारी देते हुए बताया कि छह से आठ कक्षा वर्ग में पेंटिंग प्रतियोगिता में यशवी, लोक गायन में मुस्कान व लोक नृत्य में रीतिका ने पहला स्थान प्राप्त करके स्कूल का नाम रोशन किया। कक्षा नौ से बारह लड़कियों में लोक गायन में तनवी, पेंटिंग में स्मृति, क्ले मॉडलिंग में आरजू ने तथा इन्द्री प्रतियोगिताओं के लडक़ों के वर्ग में पेंटिंग में अर्पित, क्ले मॉडलिंग में कृष सैनी ने पहला स्थान प्राप्त किया। नौ से बारह की लड़कियों की प्रतियोगिता में उमा ने दूसरा स्थान हासिल किया। अध्यापकों की रंगोत्सव प्रतियोगिता में हिन्दी प्राध्यापक अरुण कुमार ने एकल ड्रामा व इतिहास प्राध्यापक मुकेश खंडवाल ने लोक गायन में पहला स्थान प्राप्त किया। हिन्दी अध्यापक नरेश कुमार मीत ने हारमोनियम वादन करके दूसरा स्थान प्राप्त किया।

इस मौके पर प्राध्यापक सतीश कांबोज, सतीश राणा, डॉ. महावीर सिंह, बलविन्द्र सिंह, राजेश कुमार, सीमा गोयल,  बलराज, सलिन्द्र कुमार, दिनेश कुमार, विवेक कुमार, सन्नी चहल, संजीव कुमार, अनिल पाल, प्रीति आहुजा, चन्द्रवती, स्नेह लता, कविता, विनीत सैनी, बिट्टू सिंह, जितेन्द्र, सुरेन्द्र, लिपिक आशीष कांबोज उपस्थित रहे।

JAGMARG 22-11-2022

HARYANA PRADEEP 22-11-2022


DAINIK BHASKAR 22-11-2022

22-11-2022

Wednesday, November 16, 2022

COUNTING & TABLE COMPETITION HELD AT BIANA CLUSTAR LEVEL

 परी, लवलीन, रूही, मनप्रीत व पूजा अपनी-अपनी कक्षाओं में रहे प्रथम

गिनती व पहाड़ों की क्लस्टर स्तरीय प्रतियोगिता आयोजित

विद्यार्थियों में ना रहे गणित का डर: अरुण कैहरबा

इन्द्री, 16 नवंबर 

गांव ब्याना स्थित राजकीय मॉडल संस्कृति प्राथमिक पाठशाला में एफएलएन के तहत क्लस्टर स्तरीय गिनती व पहाड़ों की प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। एबीआरसी सुखविन्द्र सिंह द्वारा संयोजित कार्यक्रम में ब्याना क्लस्टर के तहत आने वाले ब्याना, बदरपुर, रंदौली व बीड़ माजरी की प्राथमिक पाठशालाओं के विद्यार्थियों ने हिस्सा लिया। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए क्लस्टर मुखिया व राजकीय मॉडल संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय के कार्यकारी प्रधानाचार्य अरुण कुमार कैहरबा ने विजेता विद्यार्थियों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया। उन्होंने निर्णायक मंडल की भूमिका निभाने वाले गणित प्राध्यापक सतीश राणा, सीमा गोयल, गणित अध्यापिका प्रीति आहुजा, प्राथमिक शिक्षक सुरजीत सिंह, जीतेन्द्र कुमार को भी सम्मानित किया।

विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए क्लस्टर मुखिया अरुण कुमार कैहरबा ने कहा कि प्रतियोगिता का उद्देश्य विद्यार्थियों में गणित के प्रति रूचि विकसित करना है। गणित विषय सभी बच्चों को अच्छा लगना चाहिए। ऐसा तभी होगा जब विद्यार्थियों की गणित की दक्षताओं में निखार आए और गणित के प्रति डर दूर हो। उन्होंने कहा कि सभी विषय हमारे व्यक्तित्व के सभी पक्षों के विकास के लिए जरूरी हैं। एबीआरसी सुखविन्द्र सिंह ने कहा कि एफएलएन के तहत विद्यार्थियों के भाषा ज्ञान और गणितीय क्षमताओं के विकास के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। कार्यक्रम को सफल बनाने में प्राथमिक स्कूल की प्रभारी स्नेह लता, मिड-डे-मील प्रभारी कविता रानी, सुरेन्द्र कुमार, बलिन्द्र सिंह व संजीव कुमार ने सहयोग किया। 

ये रहे परिणाम-

प्रतियोगिता में पहली कक्षा से ब्याना स्कूल की परी ने पहला, रंदौली स्कूल के आयुष ने दूसरा और बीड़ माजरी की हिमांशी ने तीसरा स्थान प्राप्त किया। दूसरी कक्षा से रंदौली की लवलीन, ब्याना के हिमांशु व बदरपुर के शिवांश ने क्रमश: पहला, दूसरा व तीसरा स्थान प्राप्त किया। तीसरी कक्षा से बदरपुर की रूही पहले, ब्याना की पृशा दूसरे और रंदौली की भूमिका तीसरे स्थान पर रही। चौथी कक्षा से बीड़ माजरी के मनप्रीत ने पहला, रंदाली की काजल ने दूसरा और ब्याना की चैतन्या ने तीसरा स्थान प्राप्त किया। पांचवीं कक्षा से बदरपुर की पूजा ने पहला, रंदौली के मयंक ने दूसरा और ब्याना के लक्की ने तीसरा स्थान प्राप्त किया।