![](https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEj6Jd2hN58w0bITMfXM_D4MdXmvjxyM_cOARbUhUwbRwSIAj3kAHpVZLwz4MXWb3X5ShXnhrMOhZV3WD7s-3WSno_vFJe0FlHBdFbuVtvn1C37ZoPFuhHpc7EEOmA6GGTq8KxyjMQLb4mf6/s320/21INDRI1.jpg)
शहद उत्पादन के साथ-साथ पौधों को संरक्षण प्रदान करती हैं मधुमक्खियां।
मधुमक्खी पालकों के प्रशिक्षण शिवर का आयोजन।
अरुण कुमार कैहरबा
इन्द्री, 21 अक्तूबर
उपमंडल के गांव फूसगढ़ में राष्ट्रीय मधुमक्खी बोर्ड, कृषि मंत्रालय के सहयोग से देशवाल ग्रामोद्योग समिति के तत्वावधान में सात दिवसीय मधुमक्खी पालन विषय पर प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया जा रहा है। शिविर के तीसरे दिन पशु पालकों को संबोधित करते हुए कृषि विज्ञान केन्द्र उचानी के जिला विस्तार विशेषज्ञ डॉ. दिलबाग सिंह अहलावत ने कहा कि मधुमक्खियां शहद उत्पादन के साथ-साथ पौधों की विभिन्न प्रजातियों का संरक्षण करती हैं। शिविर की अध्यक्षता समिति के अध्यक्ष रामपाल और प्रबंध बडग़ोत्रा ग्रामोद्योग समिति के प्रधान सुनील कांबोज ने किया।
डॉ. अहलावत ने कहा कि कृषि को लाभकारी व्यवसाय बनाने में मधुमक्खी पालन बेहद कारगर साबित हो सकता है। परंपरागत रूप से विभिन्न आयुर्वेदिक दवाओं में प्रयोग के अलावा शहर को दैनिक आहार के रूप में भी प्रयोग किया जाता है। उन्होंने कहा कि मधुमक्खियां पर-परागकण कर फसलों की पैदावार बढ़ाने के साथ-साथ हमें शहद, मोम, प्रोपोलिस, रॉयल, जैली व विष जैसे कईं पदार्थ भी प्रदान करती हैं। प्लांट ब्रीडर डॉ. अश्विनी ने कहा कि मधुमक्खी पालन के काम को कोई भी शिक्षित, अशिक्षित, किसान, भूमिहीन व महिलाएं भी सरलता से कर सकती हैं। यदि इस व्यवसाय के प्रति गंभीरता दिखाई जाए तो काफी हद तक बेरोजगारी को कम किया जा सकता है।
डॉ. जसबीर सिंह टाया और डॉ. जयशंकर श्योराण ने मधुमक्खी पालन छोटे बजट में भी किया जा सकता है। मधुमक्खी पालन शुरू करने के लिए एक बार आवश्यक उपकरण एवं मधुमक्खियां खरीदनी पड़ती हैं। पिपली में एडीओ डॉ. कृष्ण पाल ने मधुमक्खी पालन के लिए सरकार द्वारा शुरू की गई योजनाओं, मधुमक्खियों के जीवन-चक्र, कार्य प्रणाली, शहद उत्पादन बढ़ाने के उपायों और शहद निष्कासन के बारे में विस्तार से बताया। सुनील काम्बोज ने आए अतिथियों का स्वागत व आभार ज्ञापन किया। इस मौके पर सिंधु ग्रामोद्योग समिति के अध्यक्ष अनिल सिंधू, राज कुमार, हरपाल, विनोद कुमार, जसमेर सिंह, राजेन्द्र कुमार, मुकेश, कुलबीर, ईशम सिंह सहित अनेक प्रदेश के अनेक जिलों से आए मधुमक्खी पालक उपस्थित रहे।
No comments:
Post a Comment