युद्ध और विनाश नहीं, शांति और विकास हो
अरुण कुमार कैहरबा
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DAINIK HARIBHOOMI 21-9-2017 |
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DAINIK HIMACHAL DASTAK 21-9-2017 |
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DAINIK SAVERA TIMES 21-9-2017 |
ऐसे में शांति की पक्षधरता करते हुए मजबूती से खड़े होने की जरूरत है। आज जब सोशल मीडिया के द्वारा सूचनाएं और अफवाहें पल भर में ही पूरी दुनिया में फैल जाती हैं तो सही-गलत की पहचान करके युद्ध के किसी छदम आह्वान को नाकाम करने की जरूरत है। शांति कमजोरी नहीं है। आजादी की लड़ाई में गांधी जी ने अहिंसा का प्रयोग करके दिखाया कि अहिंसा के जरिये भी अत्याचारी ताकतों को डराया जा सकता है। आज गरीबी, महंगाई, बेरोजगारी हमारे सबसे बड़े दुश्मन हैं। विकास की राह तैयार करने के लिए शांति और अहिंसा मजबूत शस्त्र हैं। इन शस्त्रों का प्रयोग करना सीखना जरूरी है। संयुक्त राष्ट्र संघ के आह्वान पर 21 सितंबर को प्रति वर्ष विश्व शांति दिवस के रूप में मनाया जाता है। इस वर्ष इस दिवस के लिए ‘शांति के लिए साथ दें-सभी के लिए सम्मान, सुरक्षा और गरिमा’ रखा गया है। हर रोज दूसरों को ललकार कर एक दिन शांति पर विचार करने से तो काम नहीं चलेगा। शांति के लिए सभी को काम करना होगा और एकजुटता भी दिखानी होगी। भाईचारे और सह-अस्तित्व की भावना से ही आगे बढ़ा जा सकता है।
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